'पावन , निर्मल प्रेम सदा ही -- रहा शक्ति मानवता की , जग में ये नीड़ अनोखा है - जहाँ जगह नहीं मलिनता की ;; मेरे ब्लॉग पर आपका हार्दिक स्वागत है |
मन पाखी की उड़ान तुम्हीं तक मन मीता जी का सम्बल तुम एक भरते प्रेम घट रीता ! नित निहारें नैन चकोर ना नज़र में कोई दूजा हो...